Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 11(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:एकादश अध्याय: बुधके जन्मकी कथा)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 11(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:एकादश अध्याय: बुधके जन्मकी कथा) [अथैकादशोऽध्यायः] ऋषिगण बोले- हे सूतजी ! वे राजा पुरूरवा कौन थे तथा वह देवकन्या उर्वशी कौन थी ? उस मनस्वी राजाने किस प्रकार संकट प्राप्त किया ? ॥ १ ॥ हे लोमहर्षणतनय ! आप इस समय पूरा कथानक विस्तारपूर्वक कहें। … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 10(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:दशमोऽध्यायःव्यासजीकी तपस्या और वर-प्राप्ति)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 10(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध: दशमोऽध्यायःव्यासजीकी तपस्या और वर-प्राप्ति अथ दशमोऽध्याय -ऋषिगण बोले- हे सूतजी ! आपने हमें पहले ही बतला दिया है कि असीम तेजवाले व्यासजीने कल्याणकारी समस्त पुराणोंकी रचना करके उन्हें शुकदेवजीको पढ़ाया ॥ १ ॥ व्यासजीने घोर तप करके शुकदेवजीको किस प्रकार पुत्ररूपमें प्राप्त किया? व्यासजीके मुखसे … Read more

Devi Bhagwat puran skandh 1 chapter 9(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:नवमोऽध्यायःभगवान् विष्णुका मधु-कैटभसे पाँच हजार वर्षांतक युद्ध करना, विष्णुद्वारा देवीकी स्तुति तथा देवीद्वारा मोहित मधु-कैटभका विष्णद्वारा वध)

Devi Bhagwat puran skandh 1 chapter 9(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:नवमोऽध्यायःभगवान् विष्णुका मधु-कैटभसे पाँच हजार वर्षांतक युद्ध करना, विष्णुद्वारा देवीकी स्तुति तथा देवीद्वारा मोहित मधु-कैटभका विष्णद्वारा वध)  [अथ नवमोऽध्यायः] सूतजी बोले- [हे मुनिजनो !] जब जगद्‌गुरु भगवान् विष्णुके शरीरसे निद्रादेवी निकलीं; उस समय उनके नेत्र, मुख, नासिका, भुजा, हृदय तथा वक्षःस्थलसे निकलकर वे श्रेष्ठ तामसी … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 8 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:अथाष्टमोऽध्यायःभगवान् विष्णु योगमायाके अधीन क्यों हो गये – ऋषियोंके इस प्रश्नके उत्तरमें सूतजीद्वारा उन्हें आद्याशक्ति भगवतीकी महिमा सुनाना)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 8 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:अथाष्टमोऽध्यायःभगवान् विष्णु योगमायाके अधीन क्यों हो गये – ऋषियोंके इस प्रश्नके उत्तरमें सूतजीद्वारा उन्हें आद्याशक्ति भगवतीकी महिमा सुनाना) [अथाष्टमोऽध्यायः]   -ऋषिगण बोले- हे महाभाग ! हमें इस कथानकमें महान् अद्भुत संशय है। हे महामते ! वेदों, शास्त्रों, पुराणों तथा बुद्धिमान् लोगोंकी सदासे यह अवधारणा … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 7 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:सप्तमोऽध्यायःब्रह्माजीका भगवान् विष्णु तथा भगवती योगनिद्राकी स्तुति करना)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 7 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:सप्तमोऽध्यायःब्रह्माजीका भगवान् विष्णु तथा भगवती योगनिद्राकी स्तुति करना) [अथ सप्तमोऽध्यायः]   :-सूतजी बोले- तदनन्तर उन दोनों वीरोंको देखकर सर्वशास्त्रवेत्ता ब्रह्माजी साम, दान, भेद आदि नीतियोंके माध्यमसे युद्धकी समाप्तिके उपायोंको सोचने लगे ॥ १ ॥ इनके वास्तविक बलका मुझे कोई ज्ञान नहीं है। नीतिके अनुसार … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 6 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:षष्ठोऽध्यायःशेषशायी भगवान् विष्णुके कर्णमलसे मधु-कैटभकी उत्पत्ति तथा उन दोनोंका ब्रह्माजीसे युद्धके लिये तत्पर होना)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 6 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:षष्ठोऽध्यायःशेषशायी भगवान् विष्णुके कर्णमलसे मधु-कैटभकी उत्पत्ति तथा उन दोनोंका ब्रह्माजीसे युद्धके लिये तत्पर होना) अथ षष्ठोऽध्यायः शेषशायी भगवान् विष्णुके कर्णमलसे मधु-कैटभकी उत्पत्ति तथा उन दोनोंका ब्रह्माजीसे युद्धके लिये तत्पर होना ऋषिगण बोले- हे सौम्य ! आपने मधु और कैटभके साथ भगवान् विष्णुद्वारा महासिन्धुमें पाँच … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 5 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:पञ्चमोऽध्यायः भगवती लक्ष्मीके शापसे विष्णुका मस्तक कट जाना, वेदोंद्वारा स्तुति करनेपर देवीका प्रसन्न होना, भगवान् विष्णुके हयग्रीवावतारकी कथा)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 5 (देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:पञ्चमोऽध्यायः भगवती लक्ष्मीके शापसे विष्णुका मस्तक कट जाना, वेदोंद्वारा स्तुति करनेपर देवीका प्रसन्न होना, भगवान् विष्णुके हयग्रीवावतारकी कथा) [अथ पञ्चमोऽध्यायः]   ऋषिगण बोले- हे सूतजी ! हमारा चित्त सन्देहरूपी सागरमें पूर्णतः डूबता जा रहा है; क्योंकि आपने महान् आश्चर्यजनक तथा संसारको विस्मित कर देनेवाली … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 4(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध: चतुर्थोऽध्यायःनारदजीद्वारा व्यासजीको देवीकी महिमा बताना)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 4(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:चतुर्थोऽध्यायःनारदजीद्वारा व्यासजीको देवीकी महिमा बताना) [अथ चतुर्थोऽध्यायः] :-नारदजीद्वारा व्यासजीको देवीकी महिमा बताना ऋषिगण बोले- हे सौम्य ! महर्षि व्यासकी किस पत्नीसे शुकदेवजी उत्पन्न हुए ? उनका जन्म किस प्रकार हुआ और किस प्रकारसे उन्होंने इस संहिताका सम्यक् अध्ययन कर लिया ? ॥ १॥ आपके द्वारा … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 2(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:द्वितीयोऽध्यायः -सूतजीद्वारा श्रीमद्देवीभागवतके स्कन्ध, अध्याय तथा श्लोकसंख्याका निरूपण और उसमें प्रतिपादित विषयोंका वर्णन)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 2(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कन्ध:द्वितीयोऽध्यायः -सूतजीद्वारा श्रीमद्देवीभागवतके स्कन्ध, अध्याय तथा श्लोकसंख्याका निरूपण और उसमें प्रतिपादित विषयोंका वर्णन) (अथ द्वितीयोऽध्यायः) सूतजी बोले- [हे मुनिजनो !] मैं धन्य और महान् भाग्यशाली हूँ, जो कि आप महात्माओंने वेदविश्रुत तथा अत्यन्त पुण्यप्रद श्रीमद्देवीभागवत महापुराणके सम्बन्धमें प्रश्न करके मुझे पवित्र बना दिया ॥ १ … Read more

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 3 purano ke name(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कंध: तृतीयोऽध्यायःसूतजीद्वारा पुराणोंके नाम तथा उनकी श्लोकसंख्याका कथन, उपपुराणों तथा प्रत्येक द्वापरयुगके व्यासोंका नाम)

Devi bhagwat puran skandh 1 chapter 2 purano ke name(देवी भागवत पुराण प्रथम स्कंध: तृतीयोऽध्यायःसूतजीद्वारा पुराणोंके नाम तथा उनकी श्लोकसंख्याका कथन, उपपुराणों तथा प्रत्येक द्वापरयुगके व्यासोंका नाम) [अथ तृतीयोऽध्यायः] सूतजी बोले – हे मुनिवरो ! अब आपलोग एक अन्य इतिहास सुनिये, जिसमें इस देवीभागवतके माहात्म्यका वर्णन किया गया है ॥ १ ॥ एक बार कुम्भयोनि … Read more

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